झारखंड में ED की बड़ी कार्रवाई, रांची समेत कई जगहों पर सुबह-सुबह पड़ी रेड
रांची, 8 मई 2025 — झारखंड में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने आज सुबह एक बड़ी कार्रवाई करते हुए रांची समेत राज्य के कई अन्य स्थानों पर रेड की। यह छापेमारी काले धन और भ्रष्टाचार के मामलों में की गई है। ED के अधिकारियों ने कई प्रमुख स्थानों पर छापे मारे, और तफ्तीश के दौरान कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और नकदी बरामद की हैं।
ED ने यह कार्रवाई झारखंड के राजनीतिक और प्रशासनिक हलकों से जुड़े विभिन्न मामलों की जांच के तहत की। सूत्रों के मुताबिक, यह कार्रवाई एक बड़े भ्रष्टाचार और मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में की गई है, जो राज्य के प्रमुख व्यापारिक और राजनीतिक व्यक्तियों से जुड़ा हुआ है।
ED के अधिकारियों ने बताया कि उन्होंने सुबह-सुबह कई स्थानों पर छापे मारे, जिनमें रांची के अलावा हजारीबाग, धनबाद, बोकारो और गुमला भी शामिल थे। इन छापों के दौरान कई संदिग्ध व्यक्तियों के घरों और दफ्तरों में जांच की गई और नकदी तथा आधिकारिक दस्तावेज जब्त किए गए।
ED के अधिकारियों का कहना है कि यह छापेमारी मनी लॉन्ड्रिंग और भ्रष्टाचार के मामलों में जांच का हिस्सा है। यह कार्रवाई खासकर उन व्यापारियों और अधिकारियों के खिलाफ की जा रही है, जिन पर भ्रष्टाचार के आरोप हैं और जो कथित तौर पर काले धन को सफेद करने के लिए अवैध तरीकों का इस्तेमाल कर रहे थे।
एक ED अधिकारी ने मीडिया से बात करते हुए कहा,
"हमारे पास ठोस सबूत हैं कि राज्य में कुछ प्रभावशाली लोग अवैध धन के लेन-देन और मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल थे। हम इन मामलों की गहन जांच कर रहे हैं और आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेंगे।"
झारखंड में ED की इस बड़ी कार्रवाई पर विभिन्न राजनीतिक दलों से प्रतिक्रियाएं आ रही हैं। झारखंड कांग्रेस के एक नेता ने कहा,
"यह कार्रवाई केवल राजनीतिक प्रतिशोध का हिस्सा हो सकती है। कई बार ED और अन्य एजेंसियां राजनीतिक दबाव में काम करती हैं, और हम इसे लेकर चिंतित हैं।"
वहीं, झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) ने कहा कि एजेंसी को अपनी जांच को निष्पक्ष तरीके से करना चाहिए और आरोपियों के खिलाफ सख्त कदम उठाने चाहिए। JMM के एक वरिष्ठ नेता ने कहा,
"भ्रष्टाचार और अवैध धन की जांच तो होनी चाहिए, लेकिन इसके पीछे अगर किसी का राजनीतिक उद्देश्य है तो उसे भी उजागर किया जाना चाहिए।"
ED ने यह स्पष्ट किया है कि वे किसी भी व्यक्ति या पार्टी से प्रभावित नहीं हैं और उनका मुख्य उद्देश्य कानून का पालन और भ्रष्टाचार पर कड़ी लगाम लगाना है। वे सभी मामलों में निष्पक्ष जांच करने का दावा कर रहे हैं।